बगैर एटीएम के भी ऐसे निकाले जा सकेंगे रुपए

नोटबंदी के बाद से पैसों की किल्लत और बैंकों और एटीएम के बाहर लग रही लंबी-लंबी कतारों को कम करने के लिए छत्तीसगढ़ सरकार ने एक बड़ी घोषणा की है. सरकार की घोषणा के बाद अब सीएससी के माध्यम से बगैर एटीएम के पैसे निकाले जा सकते हैं.

प्रदेश शासन के नगरीय प्रशासन विभाग मंत्री ने शासन की ओर से इसकी अधिकारिक घोषणा की है. उन्होंने कहा कि सीएससी (epa05625231 A bank executive counts new 2000 Indian rupee notes at a bank in Srinagar, the summer capital of Indian Kashmir, 10 November 2016. In a major decision, Indian Prime Minister, in an address to the nation has stated that currency notes with denomination values of INR 500 (about 7.5 US dollars) and INR 1000 (about 15 US dollars) respectively will be invalid and will be discontinued from midnight of 08 November 2016. Indian government also introduced the new notes of INR 500 (about 7.5 US dollars) and INR 2000 (about 30 US dollars) and citizens would be allowed to exchange their old currency notes through the banks and post offices till 30 December 2016. This is being considered as a major step towards curbing the problem of black money.  EPA/FAROOQ KHANसामान्य सेवा केंद्र) के माध्यम से बगैर एटीएम कार्ड पैसे निकाले जा सकते हैं. इसके लिए प्रदेश में अब तक 24 सीएससी शुरू किए गए हैं.

नगरीय प्रशासन मंत्री अमर अग्रवाल ने बताया कि सीएससी के माध्यम से ग्रामीणों के आधार कार्ड को बैंक खाते से लिंक कर फिंगर प्रिंट और हस्ताक्षर के माध्यम से उन्हें नकद राशि दी जा रही है. उन्होंने मनरेगा का उल्लेख करते हुए कहा कि कुछ दिनों पहले केंद्र सरकार के आदेश पर मजदूरों का भुगतान इसी पद्धति से किया जाता था, फिर बैंक खाते में उन्हें भुगतान देना शुरू हुआ. सीएससी दूरस्थ ग्रामीण अंचलों के लिए है, ताकि जिन ग्रामीणों के पास एटीएम कार्ड नहीं है व जिन्हें कैशलेस ट्रांजेक्शन की जानकारी नहीं है, वे ग्रामीण इस सुविधा से अपना लेन-देन कर सकते हैं.

अग्रवाल ने पत्रकार वार्ता के दौरान कई महत्वपूर्ण बिंदुओं पर भी प्रकाश डाला, जिसमें प्रदेश की तात्कालीन स्थिति प्रमुख है.

उन्होंने बताया कि प्रदेश में कुल 2743 एटीएम हैं, जिनमें विमुद्रीकरण के बाद 3 दिसंबर तक 2065 एटीएम नए सिरे से शुरू कर दिए गए हैं. उन्होंने बैंक मित्र को भी बढ़ावा दिए जाने की बात भी कही है. इसके माध्यम से बैंक अपनी शाखा के अंतर्गत आने वाले गांवों में जाकर शिविर के माध्यम से ग्रामीणों तक अपनी सेवाएं पहुंचाएंगे.

अग्रवाल ने बताया कि प्रदेश में पहले और अब मिलाकर लगभग 44 हजार व्यापारी पीओएस मशीन के लिए आवेदन जमा किए हैं. साथ ही लगभग 9 हजार पुराने व्यावसायी है जो पहले से ही पीओएस से ट्रांजेक्शन कर रहे हैं. छोटे व्यावसायियों और अन्य कारोबारियों से गुमाश्ता लाइसेंस के आधार पर पीओएस मशीन दी जा रही है.

उन्होंने बताया कि जिन कारोबारियों के पास गुमाश्ता लाइसेंस नहीं है, उन्हें नि:शुल्क गुमाश्ता लाइसेंस जारी किया जा रहा है.

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