कैसे! कश्मीरी इलाकों में हवा करेगी हजारों घरों को रोशन?

जम्मू के रियासी में रियासत का पहला विंड पावर प्लांट अगले वित्तीय वर्ष (2017-18) में शुरू हो जाएगा। यहां से 25 मेगावाट बिजली का उत्पादन होगा। यह जानकारी वित्त मंत्री डा. हसीब द्राबू ने विधानसभा में दी। 

 

उन्होंने बताया कि नेशनल इंस्टीट्यूट आफ विंड एनर्जी (एनआईडब्ल्यूई) ने रियासी जिले के बिड्डा गांव में इसके लिए स्थान चिह्नित किया है। यह आटोनोमस इंस्टीट्यूट है। जम्मू-कश्मीर एनर्जी डेवलपमेंट एजेंसी (जेएकेईडीए) ने मौजूदा 6 मेगावाट की क्षमता के दोहन की संभावनाएं प्रथम चरण के तहत तलाशी हैं। यह पायलट प्रोजेक्ट के तहत किया गया है। जेएकेईडीए ने पवन ऊर्जा की संभावनाओं को लेकर अध्ययन भी किया है। इसके तहत बारामुला के आईजारा तथा बिड्डा में 2012 में दो विंड मास्ट की स्थापना की गई। आईजारा में पवन ऊर्जा उत्पादन की संभावनाएं नहीं है।

200 मेगावाट सोलर ऊर्जा उत्पादन को मंजूरी

द्राबू ने बताया कि औसत 200 मेगावाट सोलर ऊर्जा उत्पादन को मंजूरी दी गई है। यह सेंटर वायबिलिटी गैप फंडिंग स्कीम के तहत है। यह योजना सोलर पावर प्रोजेक्ट के ग्रिड विकास से जुड़ा हुआ है।

प्रत्येक की क्षमता 10 मेगावाट है। जेएकेईडीए की ओर से इन प्रोजेक्ट को शुरू करने के लिए आवश्यक कदम उठाए जा रहे हैं। रूफटाप सोलर पावर प्लांट नीति बना ली गई है। नीति की अधिसूचना जल्द ही जारी की जाएगी।

 

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