बंद सुशी परियोजना में तेज धमाके के साथ धंस गई चाल, तीन जख्मी

झरिया, भौंरा : सोमवार को करीब एक बजे बंद सुशी परियोजना में अवैध खनन के दौरान चाल धंसने से तीन लोग जख्मी हो गए। जबकि, इस दौरान दो लोगों के नीचे दबे रहने की भी चर्चा रही। लेकिन जांच के बाद संबद्ध अधिकारियों ऐसी किसी भी बात से इंकार किया।
चाल धंसने की घटना के कुछ ही देर में इसकी खबर पूरे इलाके में फैल गई। बड़ी संख्या में स्थानीय लोग वहां पहुंचे। मौके पर ¨सदरी डीएसपी विकास कुमार पांडेय समेत कई थानों की पुलिस भी पहुंची। छानबीन और लोगों से पूछताछ के बाद ¨सदरी डीएसपी ने कहा कि यहां दो लोगों के दबे होने की चर्चा थी, लेकिन जांच में सिर्फ तीन लोग घायल पाए गए हैं।
तेज धमाके के साथ धंस गई चाल..
बताते हैं कि करीब आधा दर्जन लोग बंद सुशी परियोजना में अवैध खनन कर रहे थे। इसी बीच तेज आवाज के साथ चाल धंस गई। हादसे में तीन लोग मलबे के नीचे फंस गए। मौके पर मौजूद उनके साथियों ने उन्हें बाहर निकाला। तीनों के पैर जख्मी होने की बात कही जा रही है। वहीं, कुछ लोगों का कहना था कि दो अन्य लोग अंदर ही रह गए जो निकल नहीं सके। इस क्षेत्र में पास के ही एक विशेष इलाके के लोग कोयला खनन को आते हैं। घटनास्थल पर तीन कोयले से भरी बोरियां, तीन खाली बोरियां, कोयला खोदने का एक रॉड, एक चप्पल बरामद हुआ।
अवैध खनन के मुहानों की डोज¨रग कराने की मांग..
मौके पर ¨सदरी डीएसपी विकास कुमार पांडेय, सुदामडीह थाना प्रभारी उमेश प्रसाद, जोड़ापोखर थाना प्रभारी जयकृष्ण समेत अलकडीहा व भौंरा पुलिस के साथ सीआइएसएफ अधिकारी शेर ¨सह पहुंचे। डीएसपी ने कई लोगों से पूछताछ की और मौके का मुआयना करने नीचे गए। डीएसपी ने बताया कि छानबीन की गई है। कई लोगों से पूछताछ भी की। पर, दबे होने की पुष्टि नहीं हो सकी। बीसीसीएल प्रबंधन से कहेंगे कि अवैध खनन मुहानों की डोज¨रग कराई जाये।
सालभर से बंद पड़ी है योजना..
घटना की सूचना पर भाजपा नेता उमेश यादव, बाबू जैना, राष्ट्रीय कोलियरी मजदूर कांग्रेस के रंजीत यादव, सपा जिलाध्यक्ष विजय यादव समेत अनेक लोग जुट गये। रंजीत यादव व विजय यादव का कहना था कि इस बंद परियोजना में काफी कोयला है। प्रबंधन इसे निकलवाने का उपाय करे। यहां काम शुरू कराया जाये। खुला छोड़ने के कारण ही अवैध खनन की घटनाएं हो रही हैं। मालूम हो कि एक वर्ष पहले ही यहां चट्टू भुइयां नामक व्यक्ति की अवैध खनन में मौत हुई थी। करीब एक वर्ष से परियोजना बंद है। इधर, भौंरा कोलियरी के परियोजना पदाधिकारी आरएस चौधरी का कहना है कि अवैध खनन में किसी की मौत या जख्मी होने की कोई सूचना नहीं है।
मौत की राह पर चलकर लाते हैं कोयला : अवैध खनन मुहाना तक जाने का रास्ता बेहद दुरूह है। महज एक फीट की पगडंडी और उसके एक ओर खाई है। इसी पगडंडी से कोयला चोर कोयला निकासी के बाद पीठ पर बोरा लादकर मुहाने से तीस मीटर ऊपर आते हैं। यदि पैर फिसला तो जान जाना तय है। बावजूद इस मौत की राह पर लोग पेट की आग बुझाने को रोज सफर करते हैं। पर न तो बीसीसीएल का आंतरिक सुरक्षा तंत्र व सीआइएसएफ और न ही पुलिस इस पर रोक के उपाय कर रही है।

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