शहर में 30 दिसंबर को नजारा बदला सा नजर आया। नोटबंदी के बाद से सूने पड़े बाजारों में पहले के मुकाबले भीड़ दिखी।
मेरठ : शहर में 30 दिसंबर को नजारा बदला सा नजर आया। नोटबंदी के बाद से सूने पड़े बाजारों में पहले के मुकाबले भीड़ दिखी। शहर के अधिकांश बैंकों शाखाओं में पुराने नोट जमा कराने वालों की भीड़ बेहद कम रही। वहीं रुपये निकालने के लिए बैंकों पर लोगों की कतारें लगी रहीं। शहर में कई एटीएम बंद पड़े रहे, जिससे लोगों की परेशानी बढ़ी।
दोपहर 12.10 बजे पीएनबी ईके रोड पर निकासी के लिए करीब दो दर्जन से अधिक लोगों कतारें लगी थीं। लेकिन यहां दस से बारह हजार रुपये ही दिए जा रहे थे। मिन्नत करने या दबाव बनाने पर कुछ लोगों को 20 हजार रुपये का भी भुगतान हुआ।
दृश्य 2 – दोपहर 12.25 मिनट पर ईव्ज चौराहे के पास आइडीबीआइ बैंक में पुराने नोट जमा करने के लिए चार-पांच लोग ही थे। इनके पास 2 से तीन हजार रुपये ही थे। वहीं बाहर एटीएम पर दूर तक लंबी कतार थी। लोग कैश पाने के लिए काफी देर तक अपनी बारी का इंतजार करते रहे।
दृश्य 3 – दोपहर 12.40 बजे जिमखाना स्थित पीएनबी शाखा पर स्थिति सामान्य थी। यहां लोगों को दस हजार रुपये दिए जा रहे थे। वहीं पासबुक प्रिंट कराने, चेक जमा करने के लिए भी लोग जुटे रहे।
दृश्य 4 – दोपहर 12.55 बजे फिल्मिस्तान के सामने स्थित बैंक ऑफ बड़ौदा में लोगों को आठ-आठ हजार रुपये दिए जा रहे थे। कुछ लोगों ने कैशियर से विरोध जताया तो उन्होंने कम कैश होने की बात कही। ऐसे में लोग दी जा रही धनराशि ही लेकर लौटे।