बरेलवी बसलक से जुड़े इत्तेहादे मिल्लत कौंसिल (आईएमसी) के अध्यक्ष मौलाना तौकीर रजा खां ने मुलायम सिंह यादव को कमजोर तथा मुख्यमंत्री अखिलेश यादव को जालिम का दर्जा तक दे डाला है।
बरेली। अक्सर विवादित बयान देकर सुर्खियां बटोरने वाले मौलाना तौकीर रजा खां ने अब समाजवादी पार्टी के मुखिया मुलायम सिंह यादव के साथ ही मुख्यमंत्री अखिलेश यादव पर हमला बोला है। बरेलवी बसलक से जुड़े इत्तेहादे मिल्लत कौंसिल (आईएमसी) के अध्यक्ष मौलाना तौकीर रजा खां ने मुलायम सिंह यादव को कमजोर तथा मुख्यमंत्री अखिलेश यादव को जालिम का दर्जा तक दे डाला है।
राष्ट्रीय लोकदल के अध्यक्ष अजित सिंह के साथ मंच साझा करने वाले मौलाना तौकीर रजा ने कहा है कि समाजवादी पार्टी में सत्ता पर कब्जा करने की घरेलू लड़ाई से सूबे का विकास रूक है। उन्होंने कहा कि अखिलेख यादव ने बेटे की जिम्मेदारी नहीं निभाई, जबकि मुलायम सिंह यादव ने बाप का फर्ज अदा किया है। उन्होंने कहा कि विधानसभा चुनाव में मुलायम सिंह का समर्थन करेंगे। मौलाना ने कहा कि मुलायम सिंह यादव इस वक्त मजलूम और कमजोर हैं। उनकी मदद करना मेरी जिम्मेदारी है। मेरी राय है कि मुलायम सिंह यादव के साथ छोटे दलों को जमा कर उनका समर्थन में उतरेंगे। मौलाना तौकीर रजा ने कहा कि हम सच्चे मुसलमान हैं। मुसलमान हमेशा मजलूम के साथ होता है जालिम के साथ कभी नहीं रहा है। उन्होंने कहा कि मुलायम सिंह यादव ने बाप की हैसियत से अपनी जिम्मेदारियों को अंजाम दिया, लेकिन बेटे की हैसियत से अखिलेश यादव ने बाप का साथ नहीं दिया और घर से निकल दिया। वह जालिम हैं।
दरगाह आला हजरत खानदान से जुड़े आईएमसी अध्यक्ष मौलाना तौकीर रजा खां कल देर रात लखनऊ से बरेली अपने आवास पर पहुंचे। उन्होंने कहा कि यूपी का चुनाव बहुत अहम है। इस चुनाव से 2019 का रास्ता तय होगा। यूपी में फिरकापरस्ती हावी नहीं होनी चाहिए।
राम गोपाल यादव ने गेम खेलकर बिहार में नुकसान पहुंचाया
मौलाना तौकीर रजा ने कहा सेकुलिज्म के नाम पर बिहार के चुनाव में वोट बांटने की कोशिश की थी। उस समय तो राम गोपाल यादव ने बिहार में एक गेम खेलकर महागठबंधन को नुकसान पहुंचाने की कोशिश की थी, लेकिन वहां की अवाम ने सूझबुझ से काम लिया था। यूपी की अवाम भी बिहार की जनता से ज्यादा अकलमंद हैं। भाजपा जैसी पार्टियों को यूपी में कामयाब नहीं होने दी।
बसपा की तरफ मुसलमानों का कोई रूझान नहीं
मौलाना तौकीर रजा ने कहा कि बसपा की तरफ मुसलमानों का कोई रूझान नहीं है। इस बार मुस्लिम वोटर जागरूक हो गया है। इस बार मुलसमान ज्यादा पार्टियों और मसलकों में नहीं बांट रहा है। अभी तक तो भाजपा को जो हरा रहा उसको वोट दे रहे थे, इस बार एक तरफ मुलसमान वोट करेगा और भाजपा को हराएगा।